दशहरा पर निबंध : Essay on Dussehra in Hindi, 10 Lines with PDF

दशहरा पर निबंध Essay on Dussehra in Hindi

दशहरा पर निबंध : Essay on Dussehra in Hindi:

इस लेख में हम हिंदी में दशहरा पर निबंध के बारे में चर्चा करने जा रहे हैं साथ मे दशहरा का महत्व पर १० पंक्तियाँ और दशहरा पर कुछ FAQ भी पड़ेंगे।

दशहरा पर निबंध का प्रस्तावना:

दशहरा एक हिन्दू पर्व है और ये सम्पूर्ण देश मे बड़े हर्ष व उल्लास के साथ मनाया जाता है। ये पर्व अधर्म पर धर्म की विजय के उपलक्ष्य के रूप मे मनाया जाता है। इस दिन गावो॑ व प्रान्तों मे दशहरा का मेला लगता है पर दशहरा का सबसे बड़ा मेला कोटा राजस्थान मे लगता है। ये पर्व आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन कही जगह पर रामलीला का आयोजन भी किया जाता है। दशहरा को विजयादशमी भी कहा जाता है अर्थात सभी शेत्रो मे विजय की प्राप्ति होना। इस दिन रावण का पुतला उसके 10 सिरों के साथ जलाया जाता है क्यों की रावण का एक नाम दशानंद भी है अर्थात 10 सिरों वाला। रावण के साथ उनके भाई कुंभकर्ण व उनके पुत्र मेघनाद का भी पुतला जलाया जाता है।

दशहरा मनाने के कारण:

इस दिन भगवान श्री राम ने रावण नाम के दैत्य का वध किया था। रावण ने माता जानकी जी का हरण कर लिया था। ये युद्ध पुरे दस दिन तक चला और युद्ध के दसवे दिन भगवान श्री राम ने रावण का वध किया। इसलिए इस दिन को स्मरण रखने के लिए विजयादशमी अर्थात दशहरा मनाया जाता है। इस युद्ध मे वैसे तो बहुत से नर,वानर ने भगवान श्री राम की सहायता की जैसे – जामवंत जी, केसरी नंदन श्री हनुमान जी, विस्वकर्मा पुत्र नल व नील, बाली पुत्र अंगद व सुग्रीव आदि पर जब बात विभिक्षण जी की आती है तो एक बड़ी विचित्र अनुभूति होती है।

माना जाता है की यदि विभिक्षण जी श्री राम को रावण के अमृत बिंदु केंद्र के बारे मे नहीं बताते तो इस युद्ध मे सत्ये की विजय का हो पाना असम्भव सा था। रावण माता जानकी जी को अपनी पुत्री के रूप मे देखता था पर उनकी मोक्ष बिना जानकी जी के संभव नही थी या ये कहे की जानकी जी को अपनी पुत्री मानने के कारण वह माता सीता को वन के कष्टों से बचाने व १४ वर्ष का वनवास पूरा हो जाये। इसलिए रावण ने जनक नंदनी का हरण किया।

श्री राम व रावण कौन:

श्री राम – राम कोई साधारण मानव मात्र नही थे। ये भगवान विष्णु का एक अवतार था जो की त्रेतायुग मे हुआ था। इससे पहले भी श्री हरी ने अनेको अवतार धारण किये है। भगवान अलग-अलग युग मे एक अवतार लेते है और उन सभी का एक उद्देश्य होता है। पौराणिक कथा के अनुसार भगवन भक्त नारायण जी के श्राप के कारण भगवान को ये रूप लेना पड़ा व लक्ष्मी स्वरूपा माता सीता व श्री राम को नर रूप मे इतने कष्टों का सामना करना पढ़ा।

रावण – रावण सतयुग मे श्री हरी के द्वारपाल थे। पूर्वकाल मे २ द्वारपाल हुए थे जय-विजय। वैकुंठ लोक मे जिन्हें सनकादिक बालक ऋषियों के पुत्र ने श्राप दिया। जिससे इन्होने मृतुलोक मे जन्म लिया और भगवान श्री हरी ही राम रूप मे आकर उन्हें वापस वैकुंठले गए।

दशहरा का महत्व पर १० पंक्तियाँ | 10 Lines on Dussehra in Hindi:

  1. दशहरा अधर्म पर धर्म की विजय के रूप मे मनाया जाता है।
  2. इस दिन को मनुष्य के अहंकार के दमन के रूप मे भी मनाया जाता है।
  3. हमे हमारी प्रसिद्धि पर घमंड नही करना चाइए।
  4. हमे लोभ, मोह-माया तृष्णा मे ध्यान ना देकर ईश्वर के चरणों मे अपना ध्यान लगाना चाइए।
  5. हमे अपने ज्ञान का बखान नही करना चाइए।
  6. हमे जीवन मे सद मार्ग पर चलना चाइए।
  7. हमे ईश्वर के प्रति अपनी आस्था रखनी चाइए।
  8. हमे ईश्वर की कथाओ का ज्यादा से ज्यादा श्रवन व मनन करना चाइए।
  9. हमे संतो की सेवा व उनका आदर करना चाइए।
  10. हमे अपने माता-पिता व गुरु की आज्ञा का पालन करना चाइए।

निष्कर्ष:

रावण के चरित्र से हमे ये सिखने को मिलता है की हम कितने भी बड़े ज्ञानी और कितने भी बड़े ईश्वर के भक्त क्यों न हो हमें घमंड नहीं करना चाइए क्योकि

“विनाश काले विपरीत बुध्हि “

जब विनाश आता है तो हम मनुष्य रावण की ही भाती अपना विवेक खो बैठते है और चाहे फिर ईश्वर कितने भी हमारे सामने क्यों ना हो हम ईश्वर को नहीं पहचान पाते।

दशहरा पर FAQs | FAQs on Dussehra in Hindi:

Q. दशहरा कब मनाया जाता है?

Ans. हिंदू कैलेंडर के अनुसार हम सितंबर-अक्टूबर के महीने में दशहरा मनाते हैं। देश के अलग-अलग राज्य में दशहरा अलग-अलग तरह से मनाया जाता है।

Q. दशहरा देश के विभिन्न हिस्सों में कैसे मनाया जाता है?

Ans. पश्चिम बंगाल, ओडिशा और असम में दशहरा विजयदशमी के रूप में मनाया जाता है। भारत के उत्तरी भाग में दशहरे को नवरात्रि के रूप में मनाया जाता है।

Q. दशहरा का त्यौहार हमें क्या सिखाता है?

Ans. दशहरा का त्यौहार हमें अधर्म पर धर्म की विजय सिखाता है।

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